
वो लम्हा बना दो मुझे…
जो गुजर कर भी… तुम्हारे साथ रहे…!!
तुम्हारा इश्क़ मेरे लिए हवा जैसा है
जरा सा कम हो तो सांसे रुकने लगती हैं।
तेरे ख्याल से खुद को छुपा के देखा है,
दिल-ओ-नज़र को रुला-रुला के देखा है,
तू नही तो कुछ भी नही है तेरी कसम,
मैंने कुछ पल तुझे भुला के देखा है।
तेरे ख्वाब जो मिले आँखें अमीर हो गयी
तेरे प्यार की दौलत ही मेरी जागीर हो गयी…
तेरे अहसास की खुशबू रग रग में समाई है,
अब तू ही बता क्या इसकी भी कोई दवाई है।
रही इंतजार में आंखे और
हम खड़े रहे बरसों वहीं…
न इंतजार खत्म हुआ
न चाहत कम हुई…
पाना और खोना तो किस्मत की बात है,
मगर चाहते रहना तो अपने हाथ में है।
रिश्तों को बस इस तरह से बचा लिया करो,
कभी मान जाया करो तो कभी मना लिया करो..
नही जो दिल में जगह तो नज़र में रहने दो,
मेरी हयात को तुम अपने असर में रहने दो,
मै अपनी सोच को तेरी गली में छोड़ आया हूं,
मेरे वजूद को ख़्वाबों के घर में रहने दो।
मिल जाओ ऐसे जैसे अंधेरे से
उजाले,, में सवेरा हो जाऊं,,
बस जाओ मुझ में रूह बन
कर,, में सुनहरा हो जाऊं।।
मत सुनो मेरे दिल की धड़कन
वरना तुम भी बीमार हो जाओगे
अगर बिता लिया मेरे साथ दो मिनट
तो तुम भी इश्क़ के गुलाम हो जाओगे।
मेरी मंज़िल मुहब्बत है,
तेरे दिल में ठहर जाऊं
अगर तेरी इजाज़त है।
मेरी इबादत का कोई वक्त,
मुकर्रर नही होता…
तुम ख्यालों में आते हो..
हम सजदे में बैठ जाते हैं..!!!
मेरे सीने में एक दिल है
उस दिल की धड़कन हो तुम…
मेरी आंखों में यही हद से
ज्यादा बेशुमार है,
तेरा ही इश्क़ तेरा ही दर्द
तेरा ही इंतजार है।
गुजरने को एक अरजा गुजरा लेकिन मै कभी
तुम्हारे गली से न गुजरा बड़े सुने है चर्चे तुम्हरी गली के,
वहां से जो भी गुजरा बड़े संम्भाल कर गुजरा